नेमनाथलघु-चालीसा=दोहा=बिन भगवत् गुण गान के,लगे न हाथ मुकाम ।आ पल, दो पल ही सही,लेते भगवत् नाम ।। दूर अंधेरा होता है ।तेरा दर्श अनोखा है ।।दीपक तले तिमिर देखा ।मावस कहाँ चन्द्र लेखा ।।१।। सूरज राहु परेशाँ है ।कौन आपके […]
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