परम पूज्य मुनि श्री निराकुल सागरजी द्वारा रचित पूजन क्रंमाक 315 ==हाईकू== सँभालों,नूरे-आसमानीगर्दिशों में जिन्दगानी ।।स्थापना।। लाये जल के भरे घड़े, दो बना काम बिगड़े ।।जलं।। लाये चन्दन-घट भरे, दो बना काम बिगड़े ।।चन्दनं।। लाये परात धाँ गहरे, दो बना […]