सवाल आचार्य भगवन् ! आत्म हत्या को पाप क्यों माना है नमोऽस्तु भगवन्, नमोऽस्तु भगवन्, नमोऽस्तु भगवन्, जवाब…...
सवाल आचार्य भगवन् ! बेवजह अपनों के ऊपर, गुस्सा उतारता रहता हूँ कैसे संभलूँ नमोऽस्तु भगवन्, नमोऽस्तु भगवन्,...
सवाल आचार्य भगवन् ! रास्ते से चलता हूँ, फिर भी गाड़ी ठोक ही देता है, कोई न कोई आकर के, बगैर बनाये बैरी बनते जा...
सवाल आचार्य भगवन् ! ‘एक गीत’ आकर जो देखा तो पिंजरा खाली मिला चले जाते पर कह कर तो जाते अलविदा दौड़े दौड़े...
सवाल आचार्य भगवन् ! ‘एक गीत’ तुम चले गये किधर साथ-साथ जीने-मरने के वादे भुलाकर मुझे रुलाकर तुम चले गये...
सवाल आचार्य भगवन् ! ‘एक गीत’ मत भुलाओ मत रुलाओ अब आ भी जाओ देखो भी तो मेरी, ये सूरत रोनी अब हो चली बहुत आँख...
सवाल आचार्य भगवन् ! ‘एक गीत’ रह-रह के रुलाये तू मुझे, याद पे याद आये वो मुस्कान तेरी थी जो जान मेरी...
सवाल आचार्य भगवन् ! ‘एक गीत’ मुड़-कर न आये, जो गये तुम… जाने कहाँ खो गये है भी तो नहीं पंख, लगा-के जिनको खोज...
सवाल आचार्य भगवन् ! ‘एक गीत’ जीवन लकीर ले गये, हाथों की मेरी तुम गये क्या गये नींद ले गये, रातों की मेरी...
सवाल आचार्य भगवन् ! ‘एक गीत’ मिल गया क्या तुम्हें, मुझसे छुपा-के जाते, चले जाते बता-के अब आँसू मेरे, न थम...
सवाल आचार्य भगवन् ! ‘एक गीत’ तुझको खो कर अब मेरे पास, बचा ही क्या पहचान था तू मेरी जान था खाई ठोकर तुझको...
सवाल आचार्य भगवन् ! ‘एक गीत’ थे यहीं तो, अभी तुम जाने, कहाँ हुये गुम दी लगने भी न खबर चल दिये हो किस डगर...
